Allahabad High Court यह टिप्पणी लिंग आधारित आयु असमानता पर एक आलोचनात्मक रुख दर्शाती है.
इलाहाबाद हाईकोर्ट की महत्वपूर्ण टिप्पणी: पुरुषों और महिलाओं की विवाह योग्य उम्र पर पितृसत्तात्मक दृष्टिकोण
हाल ही में, इलाहाबाद हाईकोर्ट ने भारत में पुरुषों और महिलाओं के लिए कानूनी विवाह योग्य उम्र पर एक महत्वपूर्ण टिप्पणी की, जिसे उन्होंने “पितृसत्ता के अवशेष” के रूप में बताया। इस टिप्पणी ने लिंग आधारित आयु असमानता पर आलोचनात्मक रुख अपनाया, और आधुनिक, प्रगतिशील समाज में इसकी प्रासंगिकता और निष्पक्षता पर सवाल उठाए।